चलो आज इस राह अकेले ही चलकर देखे ,
तनहाईके इस मंज़रसे अकेले ही गुजरकर देखे ,
गुमशुदा होने के लिए नयी डगर चलकर देखे ,
भीड़में जब मिले तनहाई तो
तनहाईमें खुदके साथ चलकर देखें ?????
क्यों करें किसीसे उम्मीद हमारा हाथ पकड़कर साथ चले !!!
चलो हम भी किसीका दामन थाम
उसका सहारा बनकर देखे !!!!
कहते है बहुत गहरे होते है ख़ामोशीके अँधेरे ,
चलो आज उसमे तुमको तलाशकर देखे !!!
आँखोंके आगे आती रही हरदम तस्वीर उसीकी ,
चलो आज उससे नज़र मिलाकर तो देखे !!!!
जिसके बगैर जीना हो ना गवारा ,
उसे जाते हुए रोकनेके लिए आवाज लगाकर देखें !!!!
जिंदगी मेरे लिए ख्वाबोंके बादल पर उड़नेवाली परी है .!! जो हर पल को जोड़ते हुए बनती है, और उन हर पलोंमें छुपी एक जिंदगी होती है ....
24 जुलाई 2011
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