नए दर्द की कोई गुंजाईश नहीं
जो थे अब तक कम ना थे कभी ,
बस ये दर्द को घूंट कर दवाई बना लूँगा
तब शायद दिल का मर्ज़ मिटा पाउँगा ......
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हंसती आँखेमें कभी गम सैलाब बनकर आया ना था ...
बहाकर ले गया तेरी यादें सब और दिल हल्का कर गया ...
जिंदगी मेरे लिए ख्वाबोंके बादल पर उड़नेवाली परी है .!! जो हर पल को जोड़ते हुए बनती है, और उन हर पलोंमें छुपी एक जिंदगी होती है ....
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बहुत ही सुंदर मनभावन रचना...
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